NCERT Solutions for Class 5 Hindi Chapter 5 जहाँ चाह वहाँ राह

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Table of Contents

NCERT Solutions for Class 5 Hindi Chapter 5 जहाँ चाह वहाँ राह (लेख)

‘जहाँ चाह वहाँ राह’ एक प्रेरणादायक अध्याय है और यह छात्रों में दृढ़ संकल्प शक्ति पैदा करेगा। जो व्यक्ति अपनी विकलांगता से लड़ता है और अपने लक्ष्य से कभी हार नहीं मानता वह अपने जीवन में सफल होता है। एनसीईआरटी पुस्तक कक्षा 5 का यह अध्याय छात्रों को दृढ़ संकल्प के बारे में सिखाएगा ताकि वे अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए कड़ी मेहनत कर सकें। इस अध्याय को पढ़कर विद्यार्थियों को प्रेरणा मिलेगी। छात्र कक्षा 5 हिंदी अध्याय 5 के समाधान का मुफ्त पीडीएफ आसानी से डाउनलोड कर सकते हैं। NCERT Solutions 5th Hindi Chapter 5-जहाँ चाह वहाँ राह (Jahan chah wahan raah) यह सामग्री सिर्फ संदर्भ के लिए है। आप अपने विवेक से तथा  अपने अनुसार प्रयोग करें।विद्यार्थियों की आवश्यकताओं के अनुसार परिवर्तन आवश्यक है ।

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अध्याय जहाँ चाह वहाँ राह

lesson-5 Jahan chah wahan raah

कक्षा 5 हिन्दी | रिमझिम

प्रश्न इला या इला जैसी कोई लड़की यदि तुम्हारी कक्षा में दाखिला लेती तो तुम्हारे मन में कौन-कौन से प्रश्न उठते?

उत्तर 1  इला या इला जैसी कोई लड़की यदि मेरी कक्षा में दाखिला लेती तो मेरे मन में तरह-तरह के प्रश्न उठते, जैसे

  • वह कपड़े कैसे पहनती होगी?
  • वह कैसे खाती होगी?
  • वह अपना गृहकार्य कैसे करती होगी?
  • वह अपने बाल कैसे संवारती होगी?
  • कहीं खुजली होने पर वह कैसे खुजलाती होगी?
प्रश्न 2 इस लेख को पढ़ने के बाद क्या तुम्हारी सोच में कुछ बदलाव आए?

उत्तर 2 इस लेख को पढ़ने के बाद यह लगा कि कुछ भी नामुमकिन नहीं है। पहले मुझे लगता था कि अपंग व्यक्ति शारीरिक रूप से ही नहीं वरन् मानसिक रूप से भी कमजोर होते हैं। अगर कुदरत ने कुछ कमी रखी है तू जरूर कुछ खासियत भी दी होगी। इन विशेष लोगों को कभी कमजोर नहीं समझना चाहिए। लेकिन अब मेरी सोच बिल्कुल बदल गई है। अब मैं उन्हें आत्मविश्वास . और साहस से भरा पाती हूँ इला ने हाथों की कमी को पैरों से पूरा किया और कामयाब बनी। जहाँ चाह वहाँ राह।

मैं भी कुछ कर सकती हूँ

यहाँ बच्चों से बातचीत से तय करें क्या-क्या उत्तर में शामिल किया जाये।

प्रश्न यदि इला तुम्हारे विद्यालय में आए तो उसे किन-किन कामों में परेशानी आएगी?

उत्तर 1 यदि इला  हमारी पाठशाला में आएगी, तो उसे अपना स्कूल बैग ढ़ोने में, लिखने में, बेंच अगर सीधा नहीं है तो उसे सीधा करने में, अपनी कक्षा के साथियों के साथ झूला आदि खेलने में परेशानी आएगी।

प्रश्न 2 उसे यह परेशानी न हो इसके लिए अपने विद्यालय में क्या तुम कुछ बदलाव सुझा सकती हो?

उत्तर 2 इला को परेशानी ना हो इसके लिए छोटे-छोटे बदलाव करने होंगे। जैसे:-इला का बैग पाठशाला में ही रखना।, इला को इस तरह से बिठाना ताकि वह अपने पाँव से काम कर सके।,उसे लिखने के लिए अधिक समय देना, खाना खाते समय बैठने की सही जगह देना, पानी पीने के लिए ऐसा नल लगाना (ऊपर की ओर) जिससे पानी उसके मुंह में जा सके,

प्यारी इला

इला के बारे में पढ़कर जैसे भाव तुम्हारे मन में उठ रहे हैं उन्हें इला को चिट्ठी लिखकर बताओ। चिट्ठी की रूपरेखा नीचे दी गई है।

उत्तर         प्रीत विहार
नई दिल्ली
दिनांक …. माह … 20….
प्रिय इला

जब पहली बार मैंने तुम्हें देखा तो मुझे लगा कि तुम अपने सारे काम किसी दूसरे से करवाती होगी। लेकिन अब तो मुझे तुम पर गर्व होता है। तुम आत्मविश्वास से भरी हो। तुम अपनी अपंगता को अपनी दृढ़ इच्छा-शक्ति पर कभी हावी नहीं होने देती। हाथ नहीं होने के बावजूद तुम कशीदाकारी जैसी मुश्किल कला में निपुणता हासिल कर ली हो। यह वाकई बेमिशाल है। हम हाथ वाले भी ऐसा काम नहीं कर पाते। तुम मेरे लिए ही नहीं सबके लिए प्रेरणा की स्रोत हो। भगवान तुम्हारे आत्मविश्वास और दृढ़ इच्छाशक्ति को बनाए रखे और तुम सफलता पर सफलता हासिल करती जाओ। इन्हीं कामनाओं के साथ।
तुम्हारा/तुम्हारी।
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सवाल हमारे, जवाब तुम्हारे

प्रशन 1. इला को लेकर स्कूल वाले चिंतित क्यों थे? क्या उनका चिंता करना सही था या नहीं? अपने उत्तर का कारण लिखो।

उत्तर 2   इला का स्कूल उसकी सुरक्षा और काम करने की गति को लेकर चिंतित था। उनका चिंता करना कुछ हद तक ठीक था क्योंकि वे तब तक इला के हौंसले से परिचित नहीं थे। उन्हें लग रहा था कि अपनी सुरक्षा के लिए वह हाथों का प्रयोग नहीं कर पाएगी। लेकिन उसकी अपंगता को लेकर चिंतित होना सही नहीं था क्योंकि इला कोई भी काम इतनी फुर्ती से करतीं थी कि देखने वाले दंग रह जाते थे।

प्रश्न 2 इला की कशीदाकारी में खास बात क्या थी?

उत्तर 2 इला काठियावाड़ी कशीदाकारी में माहिर थीं। उन्होंने काठियावाड़ी कशीदाकारी के साथ नए टांको का इस्तेमाल किया। पत्तियों में चिकनकारी शुरू की और डंडियों को कांथा से सुंदर बनाया।  जिस कारण उनके काम को सभी ने पसंद किया और उन्हें बहुत प्रशंसा मिली।

प्रश्न 3   सही के आगे (✓) का निशान लगाओ।
इला दसवीं की परीक्षा पास नहीं कर सकी, क्योंकि…
  • परीक्षा के लिए उसने अच्छी तरह तैयारी नहीं की थी।
  • वह परीक्षा पास करना नहीं चाहती थी।
  • लिखने की गति धीमी होने के कारण वह प्रश्न-पत्र पूरे नहीं कर पाती थी।
  • उसको पढ़ाई करना कभी अच्छा लगा ही नहीं।

उत्तर 3 लिखने की गति धीमी होने के कारण वह प्रश्न-पत्र पूरे नहीं कर पाती थी।

प्रश्न 4 क्या इला अपने पैर के अँगूठे से कुछ भी करना सीख पाती, अगर उसके आस-पास के लोग उसके लिए सभी काम स्वयं कर देते और उसको कुछ करने का मौका नहीं देते?

उत्तर 4 यदि इला के आस-पास के लोग उनके सभी काम कर देते तो उन्हें काम करने की जरूरत ही न लगती। अपनी हर इच्छा के लिए सदैव दूसरों पर निर्भर रहतीं। वे कशीदाकारी करना तो दूर, उसके बारे में सोचती भी न। उन्हें यह काम असंभव लगता। वह अपने पैर के अँगूठे से कुछ भी करना सीख नहीं पाती।

कशीदाकारी NCERT Solutions 5th Hindi Chapter 5-जहाँ चाह वहाँ राह पाठ से। 

प्रश्न 1 (क) इस पाठ में सिलाई-कढ़ाई से संबंधित कई शब्द आए हैं। उनकी सूची बनाओ। अब देखो कि इस पाठ को पढ़कर तुमने कितने नए शब्द सीखे।

उत्तर 1 (क) पाठ में सिलाई-कढ़ाई से संबंधित कई शब्द आए हैं। जैसे:- सुई-धागा, मलमल, रेशम, पल्लू, कसूती के टाँके, भरवाँ टाँके, कांथा, बेल-बूटे, बूटियाँ, काठियावाड़ी कशीदाकारी, चिकनकारी, कसूती और ज़ंजीर।

प्रश्न 1 (ख) नीचे दी गई सूची में से किन्हीं दो से संबंधित शब्द (संज्ञा और क्रिया दोनों ही) इकट्ठा करो।

फुटबाल, बुनाई (ऊन), बागबानी, पतंगबाज़ी

उत्तर 1 (ख):बागबानी संज्ञा- मिट्टी, खुरपा, बीज, पानी, खाद, पौधा, अनाज़, दालें, तिलहन, आदि।

पतंगबाज़ी संज्ञा-कागज़, तीलियाँ, मांझा, पतंग, चर्खी, आदि।

प्रश्न 2. एक सादा रुमाल लो या कपड़ा काटकर बनाओ। उस पर नीचे दिए गए टाँको में से किसी एक टाँके का इस्तेमाल करते हुए बड़ों की मदद से कढ़ाई करो ।

उत्तर- ये काम कक्षा के लड़के-लड़कियाँ सब करें।

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